मात्र 20 रु खर्च कर देशी चिकित्सा पद्धति से गोवंश स्वस्थ हुआ और किसान का चिकित्सा का खर्च बचा।

  • 04 October 2022
  • विकास मंडल
  • ग्राम-गोड़ाग्राम,पंचाय-करजग्राम,खंड-कटवा 1नं,जिला-पूर्व वर्धमान
  • गौ चिकित्सा और गोपालन

(#072)

मेरे पास १ जोड़ा बैल हैं। इनसे मई खेती का कार्य करता हूँ। मेरे गोवंश अस्वस्थ हो गए थे। सर्दी की समस्या के कारण उनके नाक से रक्त गिरने लगा था। मैंने एलोपैथिक इलाज कराया। 3000 रूपये खर्च करने के बाद भी गोवंश स्वस्थ नहीं हो रहा था। मुझे विचार आने लगे की गोवंश बेच दूँ। उस समय गोसेवा परिवार के कार्यकर्ता ने मुझे देशी चिकित्सा पद्धति के बारे में बताया। मैंने मात्र 20 रूपये की काली मिर्च और गुड़ की दवाई बनाकर बैलों को खिलाई। 15 दिनों में ही मेरे बैल पूरी तरह से स्वस्थ हो गए। अब वे मेरी खेती में काम कर रहे हैं।